રવિવાર, 14 માર્ચ, 2010
चाहे कहते है आज पथ्थर दिल
चाहे कहते है आज पथ्थर दिल वोह,
पर उस दिल में सांस अभी भी बाकी है,
भले ही न सुनाई देती हो आवाज उसे,
पर कानोमे गुंजती वो जंन्कार अभी भी बाकी है,
शायद तोडा हो आनेजाने वालो ने दिलको,
पर दिलमे प्यार की ख्वाईश अभी भी बाकी है,
राह भटक गये हो गर भुल से , मत भुलो,
हम जैसे हमराही इस जहां मे अभी भी बाकी है ।
नीशीत जोशी
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